Friday 23 August 2019

जन्मे कृष्ण त्रिपुरारी / डॉ. मंजु गुप्ता

जन्मे  कृष्ण त्रिपुरारी 

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मथुरा में  जब पाप बढ़ा था 
कंस से लोग घबराए 
वसुदेव  -देवकी जेल गए 
रिश्ते कुल  के थर्राए ।

बेड़ियों  में उनको जकड़ के  
पहरा  कड़ा था  बिठाया ।
  क्रूर कंस के अनाचार ने 
जुल्म उन पर  करावाया  ।

हुई देवकी की गोद  हरी 
ईश   ने कृपा  बरसायी ।
भाद्रपद की  कृष्ण अष्टमी 
घोर काली रात आयी ।

जन्में जेल में  नन्दलाला  
 हुई लीला चमत्कारी ।
  सब पहरेदार थे  सो गए 
 बेड़ी टूटी  तब  सारी ।

लाल  रख सूप में  वासुदेव  
 नन्दधाम  ईश पधारे ।
यशोदा को कृष्ण दे के वे 
लल्ली  ले सिर पर  धारे ।
  
चले  निडर देवकी के पास 
लल्ली को उधर लिटाया ।
बेड़ी में वे फिर जकड़े थे 
रुदन सुन कंस आया ।

लड़की  को पटका  धरा  पे   
 बोली  कंस से योगमाया 
तेरा काल गोकुल  में गया 
 वही करने अंत आया ।

खुशियों से जन-मन हर्षाया  
बजी आज है शहनाई
कृष्ण लला होने की बाँटी 
  गोकुल में नन्द मिठाई ।

दर्शन देने  भक्तों को हैं 
आते हैं कृष्ण मुरारी 
शोषण अधर्म जब-जब  होता 
 जन्मते कृष्ण  त्रिपुरारी  ।
....

कवयित्री-  डॉ मंजु गुप्ता 
कवयित्री का ईमेल - writermanju@gmail.com
पता - वाशी , नवी मुंबई
प्रतिक्रिया हेतु ईमेल - editorbejodindia@yahoo.com